उत्तराखंड रोडवेज द्वारा अब नई बसों का सञ्चालन करने की योजना बनाई जा रही है, जिसके लिए स्वीकृति मिल चुकी है. प्रबंधन ने नई बस खरीदने की प्रक्रिया के लिए टेंडर जारी करने की तैयारी शुरू कर दी है।
उत्तराखंड रोडवेज के पास वर्तमान में लगभग 1400 बसों का बेड़ा है, जिसमें से 900 बसें स्वयं की हैं, जबकि शेष अनुबंध पर संचालित हो रही हैं। इनमें से लगभग 400 ऐसी पुरानी बसें हैं, जो अपनी निर्धारित आयु और किलोमीटर पूरा कर चुकी हैं। इन बसों को काफी समय पहले ही सेवा से हटा दिया जाना चाहिए था, लेकिन रोडवेज की नई बसों की कमी के चलते इन पुरानी बसों का सञ्चालन अब तक भी किया जा रहा है। अब उत्तराखंड रोडवेज ने यात्रियों की सुविधा और बस सेवाओं में सुधार के लिए इन पुरानी बसों के स्थान पर नई बसों का सञ्चालन करने की योजना बनाई है।
उत्तराखंड सरकार नेकरीब छह महीने पहले रोडवेज को 40 करोड़ रुपये का ऋण लेकर 100 नई बसें खरीदने की अनुमति प्रदान की थी। इसके बाद रोडवेज प्रबंधन ने बसों की खरीद के लिए शासन को प्रस्ताव दिया, शासन ने रोडवेज प्रबंधन को इसकी स्वीकृति दे दी है। उत्तराखंड रोडवेज के वित्त नियंत्रक आनंद सिंह ने बताया कि शासन से स्वीकृति मिलने के बाद अब बसों को खरीदने के लिए टेंडर की प्रक्रिया आरंभ कर दी गई है। बस खरीदी के टेंडर को लेकर रोडवेज कर्मचारी संयुक्त परिषद के प्रदेश महामंत्री दिनेश पंत ने विरोध किया है। उनका कहना है कि रोडवेज ने एक वर्ष पूर्व जिस कंपनी से 130 बसें खरीदी थी, उस कंपनी के साथ उस वक्त ये तय किया था कि बाकि 100 बसें भी उसी मूल्य पर उपलब्ध कराई जाएंगी। लेकिन एक साल में अब नई बसों की कीमत लगभग 10% बढ़ा दी गई है. जिससे रोडवेज को लगभग छह करोड़ रुपयों का अतिरिक्त भुगतान करना पढ़ेगा।